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जिले में भाजपा की जीत के पीछे के कारण,शहर से लेकर वनांचल के संघर्षशील कार्यकर्ताओं की मेहनत से मिला परिणाम,कांग्रेस के खिलाफ वर्षों से लड़ रहे थे लड़ाई

बालोद :- बालोद जिला में हाल के चुनावों में राजनीति में चलते बयानबाजी के कारण सभी नेता पार्टी संगठन उम्मीदवारों की जीत को लेकर श्रेय लेने की राजनीति को अपने अपने पक्ष में हवा दे रहे है। लेकिन यह किसी जादूगर के एकाएक जादुई छड़ी चलाने से प्राप्त नही हो गया होगा यह सब संभव हुआ है। पार्टी के एक एक ज्येष्ठ व श्रेष्ठ निष्ठावान कार्यकर्ताओं के मेहनत व दम पर जिन्होंने चुनाव के पुरे समय नगरीय निकाय के चुनाव हो या त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव दिन रात एक कर दिया जिसने परिणाम दिया भाजपा पार्टी के उम्मीदवारों को जिताने के लिए पार्टी के बड़े नेताओं मसलन यज्ञदत्त शर्मा जैसे अनुभवी संगठन शिल्पी के हाथों बालोद पालिका की कमान देने,कृष्णकांत पवार,पवन साहू,युवा शहर मंडल अध्यक्ष अमित चोपड़ा सहित सैकड़ों युवाओं के कंधो पर बड़ी जिम्मेदारी व पालिका अध्यक्ष के रूप में संगठन ने योग्य व जिम्मेदार महिला श्रीमती प्रतिभा संतोष चौधरी को उम्मीदवार बनाकर साफ संकेत दिया कि पार्टी बालोद पालिका में 10 साल के सूखे को खत्म कर चुनाव में जीत के लिए बड़े निर्णय लेने में पीछे नही हटेगी और यह सही भी साबित हुआ दमदार चुनाव संचालक यज्ञदत्त शर्मा की बेहतर व सटीक रणनीति से बालोद पालिका में भाजपा का कब्जा हुआ।

दल्ली राजहरा में भी कमोबेश यही हाल था अंदरूनी लड़ाई,गुटबाजी व आपसी खींचतान जैसे कारणों से पार्टी लगातार वर्षो से जूझते दिख रही थी व लगभग 25 वर्षो से पालिका में हार का सामना कर रही थी जिसमे इस बार भी चुनाव की रणनीति के लिए संतोष अग्रवाल,शंकर अग्रवाल के साथ साथ व्यापारी संघ के अध्यक्ष व पूर्व मंडल अध्यक्ष गोविंद वाधवानी,महेश पांडेय,राजेश दसोड़े जैसे जमीनी नेताओ के हाथों में चुनाव की कमान दी वही युवा नेतृत्व के हाथों में चुनावी बागडोर मिलते ही पार्टी के सभी नेताओं को चुनाव मैदान में उतार कर प्रदेश संगठन ने साफ कर दिया कि इस बार वो दल्ली राजहरा में कतई चूक नही होने देंगे और हुआ भी यही सभी के सम्मिलित प्रयास से गोविंद वाधवानी के बेहतर चुनाव प्रबंधन व मंडल पदाधिकारीयो की मेहनत से इस बार पार्टी ने चुनाव में जीत हासिल की कहा जा सकता है। कि यज्ञदत्त शर्मा,गोविंद वाधवानी ने बेहतर परिणाम दिया है। पार्टी की जीत में 

नगर पंचायतो में भी स्थानीय नेताओं ने बेहतर कार्ययोजना बनाकर काम किया व अपने अपने निकायों में जीत दर्ज किया डौंडी,डौंडीलोहारा,गुंडरदेही,चिखलाकसा,गुरुर में पार्टी के स्थानीय नेताओं सहित प्रीतम साहू,देवलाल ठाकुर,अश्वनी यादव,राजेन्द्र राय,पुष्पेंद्र चंद्राकर,तोमन साहू,सोमेश साहू,नंदकिशोर शर्मा,कौशल साहू,अश्वनी यादव,दिलीप शर्मा,जयेश ठाकुर,पुष्पेंद्र चंद्राकर,हरीश कटझरे,ठाकुर राम चंद्राकर,जिला महामंत्री राकेश छोटू यादव,प्रेम साहू,मनीष झा,टीनेश्वर बघेल,जितेंद्र साहू,सुरेंद्र देशमुख सहित सभी मण्डल अध्यक्षो की बड़ी भूमिका चुनाव परिणामों में दिखाई दे रहा है। 

पूर्व जिला भाजपा अध्यक्ष कृष्णकांत पवार,लेखराम साहू,मोहन चोपड़ा,पवन साहू,देवलाल ठाकुर,नरेश यदु,प्रमोद जैन जैसे नेता अपनी टीम के साथ इस चुनाव में काम करते रहे वही क्षेत्रीय सांसद भोजराज नाग,पूर्व सांसद मोहन मंडावी भिलाई विधायक रिकेश सेन ने भी चुनाव में कमान सम्हालकर कार्यकर्ताओं में जोश भरा व चुनाव परिणामो को आसान बना दिया 

बालोद जिले के पार्टी के बड़े नेता यशवन्त जैन व अभिषेक शुक्ला ने भी कांकेर जिला में बेहतर परिणाम दिया जिम्मेदारी को बखूभी निभाया बालोद जिला के दो बड़े नेताओं को इस बार कांकेर जिला में चुनाव व संगठन की जिम्मेदारी दी गई थी जिसमे पंचायत से लेकर नगर पालिका में पार्टी को सफलता मिला बहरहाल हम ये कह सकते है कि समुद्र को बांधने में रामसेतु के निर्माण में एक वानर से लेकर एक छोटी गिलहरी का भी योगदान रहा उसी प्रकार भाजपा की जीत में शहर से लेकर गांव तक एक एक जमीनी कार्यकर्ताओं का योगदान रहा है। 

सामूहिक नेतृत्व,सही चुनाव प्रबंधन व मिलकर लड़ाई लड़ने से मिली यह जीत है। जिले के उन हजारों संघर्षशील कार्यकर्ताओं का जिन्होंने दल्ली पालिका में गोविंद वाधवानी,राकेश द्विवेदी,जयदीप गुप्ता,स्वाधीन जैन,रमेश गुर्जर,राजू कुकरेजा,विशाल मोटवानी,शीतल नायक,श्याम जयसवाल,सुरेश जयसवाल जैसे कार्यकर्ताओं का जिन्होंने जहां 27 वर्षो तक कांग्रेस के खिलाफ आवाज बुलंद की व सड़क की लड़ाई लड़ी यह जीत है बालोद पालिका में 10 वर्षो के संघर्ष का जहां राकेश यादव,अमित चोपड़ा,कमलेश सोनी,सुरेश निर्मलकर,शरद ठाकुर,लीला लाले शर्मा,अजय बाफना,गिरजेश गुप्ता जैसे अन्य कार्यकर्ताओ की जिन्होंने लगातार पार्टीहित में कांग्रेस का विरोध किया व संघर्ष किया कमोबेश बालोद जिला में चाहे पालिका हो नगर पंचायत हो या जिला पंचायत सहित जनपद सभी जगह लंबे समय से कांग्रेस का नेतृत्व रहा है। एंटीइनकबेंसी ( वर्तमान के खिलाफ आक्रोश )भी इस जनादेश के पीछे बड़ा कारण है। कि जनता ने कांग्रेस को नकार कर नेतृत्व भाजपा के हाथो में सौप दिया है। इस जीत में पार्टी के महिला शक्ति हो या युवासाथी, वरिष्ठ कार्यकर्ता हो या संघ संगठन सभी के सामूहिक मेहनत से मिली जीत है। 

बालोद पालिका व दल्ली राजहरा पालिका में जीत का आधार बेहतर उम्मीदवारों का चयन भी रहा जहां बहुसंख्यक जातिवर्ग से इस बार चुनावों में उम्मीदवार बनाये गए व जनता के बीच लोकप्रिय इन दोनों प्रत्याशियों के नाम पर बेहतर परिणाम पार्टी को मिला 

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